यह दृष्टिकोण क्यों महत्वपूर्ण है
भाषा व साक्षरता विद्यालय में पढ़ाए जाने वाले सभी विषय सीखने के लिए आवश्यक हैं। छात्र सुनने, बात करने, पढ़ने व लिखने के माध्यम से व विशेष विषयों से संबद्ध विशिष्ट शब्दों, वाक्यांशों व विन्यास को समझकर व उनका उपयोग करके ज्ञान को आत्मसात करते हैं।
उदाहरण के लिए, विज्ञान में, जिन पाठों में छात्र योजना बनाते, अनुमान लगाते, पर्यवेक्षण करते, रिकॉर्ड करते, वर्णित करते, व्याख्या व सारांश बनाते हैं, वह न सिर्फ़ उनकी विषय की समझ को बढ़ाएगा, बल्कि उनकी भाषा व साक्षरता को भी बढ़ाएगा। विद्यालय के सभी विषय भाषा व साक्षरता के विकास के ऐसे अवसर प्रदान करते हैं। अधिगम के इन संपूरक पहलुओं - विषय आधारित सामग्री व भाषा और साक्षरता सामग्री - को आपस में जोड़ने की क्षमता एक कुशल अध्यापक का गुण होता है।
आप इस इकाई में क्या सीख सकते हैं